बर्बरता सिखाकर भेजे गए थे आतंकी, पहलगाम नरसंहार पर खुफिया सूत्रों का सनसनीखेज खुलासा

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जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले में 26 पर्यटकों ने अपनी जान गंवाई. टूरिस्‍ट से पहले उनके धर्म की जानकारी ली गई. उनके कपड़े तक उतरवाकर यह चैक किया गया कि हिन्‍दुओं को ही अपना निशाना बना रहे हैं.

इस हमले को लेकर अब कई चौंकाने वाले खुलासे सामने आए हैं. न्‍यूज18 इंडिया के सूत्रों के अनुसार, इस हमले को अंजाम देने वाले आतंकी न सिर्फ वेल-ट्रेंड थे, बल्कि उनकी निशानेबाजी इतनी सटीक थी कि उन्होंने पीड़ितों को सीधा सिर या प्रमुख अंगों पर गोली मारी, जिससे उनकी मौके पर ही मौत हो गई.

सुरक्षा बलों के सूत्रों का दावा है कि पहलगाम हमले की योजना आदिल हुसैन ठोकर नामक आतंकी ने बनाई थी, जो अनंतनाग जिले में रहने वाले वली मोहम्मद ठोकर का बेटा है. बताया जा रहा है कि आदिल ने पाकिस्तान स्थित लश्कर-ए-तैयबा (LeT) के कमांडरों सैफुल्लाह कसूरी और अबू मूसा के साथ मिलकर इस हमले की साजिश रची. फिलहाल आदिल फरार है और सुरक्षा बलों ने उसकी तलाश के लिए एक बड़ा अभियान शुरू कर दिया है.

कश्मीरी नहीं जानते थे आतंकी

सूत्रों के अनुसार, हमलावरों की गोलीबारी की शैली यह दर्शाती है कि उनका उद्देश्य केवल डर फैलाना नहीं बल्कि जान से मारना था. पहले के हमलों की तुलना में यह हमला बेहद सुनियोजित और निर्मम था. मार्च में जब इन आतंकियों को पहली बार ट्रेस किया गया, तो पता चला कि वे कश्मीरी भाषा नहीं जानते थे, जिससे स्पष्ट होता है कि वे विदेशी थे. बताया गया है कि आदिल ने स्थानीय मार्गदर्शक के तौर पर इन विदेशी आतंकियों को ट्रेनिंग दी और इलाके की पूरी भौगोलिक जानकारी का लाभ उठाते हुए यह हमला कराया.

आतंकी का जनाजा देख दहशतगर्द बना आदिल ठोकर

आदिल ठोकर का चरमपंथ की ओर झुकाव साल 2018 से शुरू हुआ, जब उसे दक्षिण कश्मीर में मारे गए आतंकियों के जनाजे में देखा गया था. उसी साल वह वैलिड ट्रैवल डॉक्‍यूमेंट (VTD) के जरिए वाघा बॉर्डर से पाकिस्तान गया और फिर गायब हो गया. बाद में खबरें आईं कि उसने लश्कर-ए-तैयबा से हाथ मिला लिया है. सूत्रों का कहना है कि आदिल का पर्यटकों के प्रति गहरा द्वेष था और संभवत: उसी ने आतंकियों को निर्दयता से हत्या करने का आदेश दिया. इसके अलावा, हमलावरों को यह भी पता था कि सहायता पहुंचने में समय लगेगा. पुलिस बल हमले के डेढ़ घंटे बाद पहुँचे और इलाके की सड़कों की हालत भी खराब थी. इस हमले ने सुरक्षा एजेंसियों को एक बार फिर सतर्क कर दिया है और अब घाटी में गैर-स्थानीय लोगों और पर्यटकों के लिए अतिरिक्त सुरक्षा प्रबंध किए जा रहे हैं.

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